डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य सहित चार दिग्गज खुद के लिए नहीं डाल सकेंगे वोट’

कौशाम्बी,

डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य सहित चार दिग्गज खुद के लिए नहीं डाल सकेंगे वोट,

यूपी विधानसभा चुनाव मैदान में उतरकर दूसरों से अपने लिए वोट डालने की अपील करने वाले कौशाम्बी जिले के चार दिग्गज प्रत्याशी खुद को ही अपना वोट नहीं डाल पाएंगे। इन सियासी सूरमाओं में डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य, पूजा पाल, नागेन्द्र सिंह पटेल और डॉ. पल्लवी पटेल शामिल हैं। दरअसल, इनका नाम इनके चुनाव लड़ने वाले विधानसभा क्षेत्र की मतदाता सूची में ही नहीं है। नामांकन पत्र में भी इन्होंने अपने विस क्षेत्र के किसी गांव या शहर का पता नहीं लिखा है।
उत्तर प्रदेश सरकार के उप मुख्यमंत्री और सिराथू विधानसभा क्षेत्र के भाजपा प्रत्याशी केशव प्रसाद मौर्य वैसे तो मूलत: सिराथू के ही निवासी हैं, लेकिन सिराथू की वोटर लिस्ट में उनका नाम नहीं है। नामांकन में उन्होंने प्रयागराज का जो पता लिखा है, वहीं के बूथ पर जाकर वोट डाल सकेंगे। इसी तरह नामांकन पत्र में दिए गए हलफनामे के मुताबिक चायल सीट की सपा उम्मीदवार पूजा पाल हरदोई जिले के मेंहदी खेड़ा गोसवां बिलग्राम की निवासी हैं। लिहाजा वह भी चायल के किसी बूथ पर जाकर अपने को वोट नहीं कर पाएंगी। सिराथू की सपा उम्मीदवार डॉ. पल्लवी पटेल कानपुर जिले के विष्णु पुरी लेबर कॉलोनी की निवासी हैं। उनका नाम भी सिराथू की मतदाता सूची में नही है। वहीं, भाजपा-अद (एस) गठबंधन के चायल उम्मीदवार नागेन्द्र सिंह पटेल प्रयागराज के लिडिल रोड एक्सटेंशन निवासी हैं। वे भी अपने लिए मतदान नहीं कर पाएंगे। खुद को वोट नहीं कर पाने वाले चारों दिग्गजों में कोई मौजूदा तो कोई पूर्व माननीय है। केशव प्रसाद मौर्य फिलवक्त डिप्टी सीएम हैं। पूजा पाल पूर्व विधायक तो नागेन्द्र सिंह पटेल पूर्व सांसद हैं। डॉ. पल्लवी पटेल अपना दल (कमेरावादी) की राष्ट्रीय कार्यवाहक अध्यक्ष हैं। लिहाजा उनका नेम-फेम भी किसी से कम नहीं है। इस चुनाव में वह सीधे तौर पर डिप्टी सीएम को चुनौती भी दे रही हैं।कानपुर और हरदोई में मतदान हो चुका है। ऐसे में कहा जा सकता है कि पल्लवी पटेल और पूजा पाल अपना वोट डाल आई होंगी। कौशाम्बी के साथ प्रयागराज में भी 27 फरवरी को चुनाव है। केशव मौर्य तथा नागेन्द्र सिंह पटेल प्रयागराज के मतदाता हैं। मतदान के दिन उनका यहां खुद का चुनाव रहेगा। ऐसे में संभव है कि ये दिग्गज मताधिकार का प्रयोग करने से चूक जाएं। हालांकि इनके करीबियों का कहना है कि वोट डालने का समय जरूर निकालेंगे।

Ashok Kesarwani- Editor
Author: Ashok Kesarwani- Editor