कौशाम्बी,
पेंशनर्स दिवस का किया गया आयोजन,पेंशनर्स को किया गया सम्मानित,
यूपी के कौशाम्बी एडीएम (न्यायिक) प्रबुद्ध सिंह की अध्यक्षता में मंगलवार को उदयन सभागार में पेंशनर्स दिवस का आयोजन किया गया, जिसमें जनपद के विभागों से सेवानिवृत्त पेंशनर्स के साथ कार्यालयाध्यक्ष उपस्थित रहे।
पेंशनर्स दिवस पर वरिष्ठ कोषाधिकारी कौशाम्बी रवीन्द्र प्रताप सिंह ने पेंशनर्स को सम्बोधित करते हुए पेंशनरों से सुझाव प्राप्त कर विभिन्न प्रकरणों पर चर्चा की। जिसमें पेंशनर कोषागार में जीवित प्रमाण पत्र वर्ष नवम्बर माह में देने की अनिवार्यता समाप्त कर पूरे वर्ष में किसी भी माह में जीवित प्रमाण पत्र दे सकते हैं, बशर्ते अगले वर्ष उसी माह में जीवित प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा जिस माह इस वर्ष के माह में दिया गया है। आनलाइन जीवित प्रमाण पत्र किसी भी सहज जन सेवा केन्द्र पर पेंशनर्स बिना किसी शुल्क के आनलाइन कर सकते हैं।इस आशय का आदेश कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे एडीएम ने दी है।
शासनादेश के अनुसार 30 जून एवं 31 दिसम्बर को सेवानिवृत्त पेंशनर्स को एक वेतन वृद्धि नोशनल आधार पर दिये जाने हेतु सभी कार्यालयाध्यक्षों को पत्र प्रेषित किये जाने का आश्वासन दिया गया। पेंशन से राशिकरण सम्बन्धी कटौती के सम्बन्ध में पूछे गये प्रश्न पर वरिष्ठ कोषाधिकारी कौशाम्बी द्वारा अवगत कराया गया कि 11 वर्ष 10 माह पेंशन से राशिकरण धनराशि की कटौती पूर्ण होने के पश्चात न्यायालय का पेंशनर्स द्वारा आदेश प्राप्त कराये जाने पर कटौती बन्द की जायेगी। पंडित दीन दयाल कैशलेस चिकित्सा योजना के बारे में वरिष्ठ कोषाधिकारी द्वारा अवगत कराया गया कि यह योजना राजकीय पेंशनर्स, (परिषदीय एवं सहायता प्राप्त विद्यालयों के सेवानिवृत्त पेंशनर्स को छोड़कर) अधिकारिक वेबसाइट https://sects.up.gov.in पर जाकर कर आनलाइन कर सकते हैं।
समारोह में उपस्थित सभी पेंशनर्स ने कोषागार के पेंशन पटल कार्मिकों एवं वरिष्ठ कोषाधिकारी के सहयोगात्मक कार्य की भूरि-भूरि प्रसंशा की गई तथा वरिष्ठ कोषाधिकारी रवीन्द्र प्रताप सिंह ने उपस्थित पेंशनर्स के माध्यम से यह भी अवगत कराया कि यदि कोई पेंशनर्स जिसका आनलाइन जीवित प्रमाण पत्र आनलाइन नही हो पा रहा है और वह कोषागार आने में असमर्थ है,वह हमारे कोषागार कार्मिक उनके घर जाकर सत्यापन कर पेंशन भेजने की कार्य करेंगे, बशर्ते इस आशय की सूचना कोषागार को दी जाये। इस अवसर पर एडीएम द्वारा पेशनरों को अंगवस्त्र एवं माला पहनाकर सम्मानित किया गया तथा उनके दीर्घायु एवं स्वस्थ रहने की कामना भी की।